तेरा था कुछ तो , घबराना न तुम ,
गुलाब में जड़ी पतियाँ सब हैं , तेरी ,
तेरी हर धरोहर को रँगा था गुलाबी ,
गुलाबी , गुलाब सिर्फ धरा तेरे लिए !
जब भी सिमट जाने की इच्छा जोर मारे ,
बिना पूछे यादों का गुलाब उठा ,
लगा लेना जुड़े में तुम , और चले जाना ,
मेरा दिल गुलाबी हो चुका , महक से तुम्हारी !!
गुलाब में जड़ी पतियाँ सब हैं , तेरी ,
तेरी हर धरोहर को रँगा था गुलाबी ,
गुलाबी , गुलाब सिर्फ धरा तेरे लिए !
जब भी सिमट जाने की इच्छा जोर मारे ,
बिना पूछे यादों का गुलाब उठा ,
लगा लेना जुड़े में तुम , और चले जाना ,
मेरा दिल गुलाबी हो चुका , महक से तुम्हारी !!
No comments:
Post a Comment