तेरी बेपरवाहियाँ कब ज़ुल्म हो गयीं , न मालूम ,
ये तन्हाईयाँ कब , दिल , पार हो गयीं , न मालूम ,
ये शहनाईयां कब , ख़ार हो गयीं , न मालूम ,
अब सब्र से हैं , हम कब्र में हैं , बस है मालूम !!
ये तन्हाईयाँ कब , दिल , पार हो गयीं , न मालूम ,
ये शहनाईयां कब , ख़ार हो गयीं , न मालूम ,
अब सब्र से हैं , हम कब्र में हैं , बस है मालूम !!
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