Monday, 8 April 2013

जीवन  पथिक चल आगे ,
ठोकर  लगे  कोई  बात  नहीं ,
गिरे पड़े ,  कोई  बात नहीं ,
मन  ठेस लगे  कोई बात  नहीं ,
तेरे अंतर  में ,  है  बैठा वो ही ,
जिसके  हाथों में दुआ, दवा ,
जिसके  कहने  से  बहे हवा ,
प्राण ,  अपान जिसके  कहने  में ,
जिसकी  करवट है , आब ओ हवा ,
तड़ित वही , वही बादल ,  चाँद ,
वहीँ से  निकली , सुबह  और सांझ ,
कुछ तो  रख विश्वास  अरे ,
अपनी  आशा पे   उतर खरे ,
ये  जीवन  बाधा ,   तेरी  परीक्षा ,
हर  पग उत्तीरण तू  होगा अरे ,
जीवन पथिक ,  चल  आगे ,
तेरे निशानों पर   चलने को ,
कितने तेरे  पीछे खड़े !!



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